सरकार ने देश में कैशलेस अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने के लिए दो करोड़ रुपए तक का वार्षिक कारोबार करने वाले व्यवसायिों को कर में छूट देने की घोषणा की है। वित्त मंत्री अरुण जेटली ने मंगलवार को कहा कि चालू वित्त वर्ष के बजट में ही डिजिटल भुगतान को बढ़ावा देने के लिए प्रोत्साहन देने की बात कही गई थी। इसी के तहत ऐसे कारोबारी जो खाता-बही नहीं रखते हैं उनके लिए आयकर की धारा 44ए डी को संशोधित
किया गया है। उन्होंने कहा कि इसके तहत दो करोड़ रुपए तक वार्षिक कारोबार करने वाले व्यापारियों और छोटे उद्यमियों की अनुमानित आय कुल कारोबार की आठ फीसदी राशि पर कर लगेगा। लेकिन, यदि कारोबार के लिए क्रेडिट कार्ड, चेक या किसी दूसरे इलेकट्रॉनिक तरीके से लेनदेन किया जाता है तो उस कारोबार की मात्र छह फीसदी राशि ही कर योग्य होगी। इससे कारोबारियों को 30 फीसदी से अधिक का कर लाभ होगा। उल्लेखनीय है कि सरकार ने 08 नवंबर की मध्य रात्रि से 500 और एक हजार रुपए के पुराने नोटों का प्रचलन से बंद कर दिया है और अब डिजिटल भुगतान को बढ़ावा दे रही है। इसी के तहत कार्ड से भुगतान करने वालों के लिए कई तरह के प्रोत्साहन घोषित किये गये हैं।